Independence Day 2024 Quotes: आज यानी 15 अगस्त 2024 को हमारे देश की आजादी के 77 साल पूरे हो चुके हैं और भारत अपना 78वां स्वतंत्रता दिवस (Independence Day) मना रहा है. हालांकि भारत देश को अंग्रेजों की गुलामी से आजादी दिलाने के लिए न जाने कितने ही वीर स्वतंत्रता सेनानियों और वीर सपूतों ने हंसते-हंसते अपने प्राणों को न्योछावर कर दिया. उन्हीं के त्याग और बलिदान की वजह से आज हर हिंदुस्तानी आजादी की खुली हवा में सांस ले रहा है. करीब 200 सालों तक अंग्रेजों की गुलामी करने के बाद 15 अगस्त 1947 को हमारा देश गुलामी की बेड़ियों को तोड़कर आजाद हुआ था, इसलिए यह दिन हर हिंदुस्तानी के लिए बेहद खास है. इस दिन तिरंगे को फहराकर उसे सलामी दी जाती है. इसके साथ ही वीर स्वतंत्रता सेनानियों के त्याग और बलिदान को याद करते हुए, उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की जाती है.
ब्रिटिश हुकूमत को जड़ से उखाड़ फेंकने के लिए हमारे देश के वीर स्वतंत्रता सेनानियों ने अपने प्राणों का बलिदान दिया था. यह उनके त्याग, बलिदान और कड़े संघर्षों का नतीजा है कि आज हम सभी भारतवासी आजादी की खुली हवा में सांस ले रहे हैं. स्वतंत्रता दिवस के इस खास अवसर पर आप अपने दोस्तों-रिश्तेदारों संग इन 10 महान स्वतंत्रता सेनानियों के विचारों को शेयर कर उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित कर सकते हैं.
1- स्वराज मेरा जन्मसिद्ध अधिकार है और मैं इसे लेकर रहूंगा.
-बाल गंगाधर तिलक
- Bal-Gangadhar-Tilak.jpg (44.8 KiB) Viewed 22 times
2- आजादी किसी भी कीमत पर प्रिय नहीं होती, यह जीवन की सांस है. एक आदमी जीने के लिए क्या नहीं भुगतान करेगा.
-महात्मा गांधी
- Mahatma-Gandhi.jpg (51.33 KiB) Viewed 22 times
3- जब तक आप सामाजिक स्वतंत्रता प्राप्त नहीं कर लेते, तब तक कानून द्वारा जो भी स्वतंत्रता प्रदान की जाती है, उसका कोई लाभ नहीं है.
-बी.आर. आंबेडकर
- BR-Ambedkar.jpg (49.33 KiB) Viewed 22 times
भारत के स्वतंत्रता संग्राम के दौरान कई क्रांतिकारियों ने क्रांतिकारी नारे बुलंद किए थे, जो आज भी युवाओं के दिलों में देशभक्ति का अलख जगाने का काम करते हैं. दरअसल, देश के स्वाधीनता संग्राम में शामिल वीर स्वतंत्रता सेनानियों ने ब्रिटिश सरकार के खिलाफ विद्रोह करते हुए आजादी के लिए नारे बुलंद किए थे. राष्ट्रपिता महात्मा गांधी, शहीद भगत सिंह, सुखदेव, अश्फाक उल्ला खान, लोकमान्य तिलक, चंद्रशेखर आजाद, राम प्रसाद बिस्मिल और पंडित मदन मोहन मालवीय जैसे शूर वीरों ने स्वतंत्रता संग्राम के दौरान क्रांतिकारी नारे बुलंद किए थे और देशवासियों को इस संग्राम के लिए प्रेरित किया था.