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Re: Childhood dost

Posted: Sun Feb 09, 2025 5:21 pm
by Pushpa007
Sonal singh wrote: Fri Dec 06, 2024 8:11 am हां मेरे बचपन के दोस्त आज भी है। आज भी हम फोन पर खूब बातें करते हैं। हम साथ ही में बचपन बिताया है उसकी नानी का घर और मेरी नानी का घर भी एक ही गांव में था। और हम खूब मस्ती किया करते थे। बचपन की हमारी बहुत सारी ऐसी यादें हैं जो आज भी हम फोन पर जब बातें करते हैं तो बहुत हंसते हैं अब तो उसकी भी शादी हो गई मेरी भी शादी हो गई। दोस्ती आज भी है। हर सुख दुख साथ में शेयर करते हैं।
सच में, बचपन के दोस्त जिंदगी का वो हिस्सा होते हैं, जो वक्त के साथ कभी फीके नहीं पड़ते। वक्त भले ही आगे बढ़ गया, जिम्मेदारियाँ आ गईं, शादियाँ हो गईं, लेकिन दोस्ती की वो मासूमियत हमेशा रहती है। फोन पर हँसी के वो पल बताते हैं कि बचपन कहीं न कहीं हमारे अंदर अब भी जिंदा है। सुख-दुख में साथ होना ही सच्ची दोस्ती की पहचान है।